मिलती है प्रेमियों की संगत कभी कभी __ Romi Ji __ गुरसहायगंज___ Jai Shyam Ji Ki
तू खाटू बुलाता रहे _ और मैं आता रहूँ __ Reshmi Sharma Ji
हाथ फेर कर सिर पर बोल्यो - बाबा लखदातार __ Uma Lahari ji
कहां हो सांवरिया मुझे तेरा सहारा है _ भाव भरा भजन _ KANHIYA MITTAL
जब जब प्रेमी कहीं पे कोई रोता है - तुम हारे के सहारे __ Parvinder Palak Ji
तू कृपा कर बाबा - कीर्तन करवाऊंगा __ Kanhaiya Mittal ji
नईया है मझधार __ संजय मित्तल जी का भाव भरा भजन __ Sanjay Mittal JI
श्याम दिल लूट लिया _ विमल दीक्षित जी _ Sarai Aghat
सरदार जी के खराब हालात __ Kanhiya Mittal
हाथ फेर कर सिर पर बोल्यो - बाबा लखदातार __ Uma Lahari ji